चीन के वुहान शहर में एक होटल इन दिनों सुर्खियों में है, और वजह है इसका अनोखा ऑफर जो डॉग लवर्स का दिल जीत रहा है। इस होटल का नाम है कंट्री गार्डन फीनिक्स होटल, जहां मेहमानों को सिर्फ कमरा ही नहीं, बल्कि एक प्यारा और ट्रेंड डॉग भी साथ में मिलता है। जी हां, आपने सही सुना! अगर आप डॉग्स के शौकीन हैं, तो ये खबर आपके लिए किसी ट्रीट से कम नहीं।
क्या है इस ऑफर का जादू?इस होटल में आप सिर्फ 4,700 रुपये प्रति रात के हिसाब से कमरा बुक कर सकते हैं और साथ में गोल्डन रिट्रीवर, हस्की या टेरियर जैसे डॉग्स के साथ समय बिता सकते हैं। यह सर्विस जुलाई में शुरू हुई थी और कुछ ही हफ्तों में इसने 300 से ज्यादा बुकिंग्स हासिल कर ली हैं। होटल मैनेजर मिस्टर डोंग बताते हैं कि ट्रैवलर्स को यह कॉन्सेप्ट इसलिए पसंद आ रहा है क्योंकि इससे उन्हें घर जैसा सुकून मिलता है। खासकर उन लोगों को, जो अपने पालतू जानवरों को मिस करते हैं। चीन में पालतू जानवरों से जुड़ा बिजनेस तेजी से बढ़ रहा है। 2024 में यह मार्केट 300 बिलियन युआन तक पहुंच गया और हर साल 7.5% की रफ्तार से बढ़ रहा है। अनुमान है कि 2027 तक यह 400 बिलियन युआन का आंकड़ा पार कर लेगा।
पेट कल्चर का बढ़ता क्रेजचीन में पालतू जानवरों का चलन अब सिर्फ घरों तक सीमित नहीं रहा। डॉग कैफे, पेट योगा, ग्रूमिंग और यहां तक कि क्लोनिंग जैसी सर्विसेस भी खूब पॉपुलर हो रही हैं। होटल्स ने भी इस ट्रेंड को भुनाना शुरू कर दिया है। कई मेहमानों ने बताया कि उन्हें शुरू में लगा था कि डॉग्स शरारती होंगे, लेकिन ये डॉग्स इतने शांत, आज्ञाकारी और प्यार करने वाले हैं कि उनका दिल जीत लिया।
कितने डॉग्स और कहां से आते हैं?होटल में अभी 10 डॉग्स उपलब्ध हैं, जिनमें गोल्डन रिट्रीवर, हस्की और टेरियर जैसे नस्लें शामिल हैं। इनमें से कुछ डॉग्स होटल के अपने हैं, तो कुछ प्राइवेट ओनर्स या ट्रेनर्स से लिए गए हैं। सभी डॉग्स का हेल्थ चेकअप और ट्रेनिंग होती है ताकि मेहमानों और डॉग्स, दोनों को ही अच्छा अनुभव मिले। हालांकि, इस अनोखे आइडिया को लोग जितना पसंद कर रहे हैं, उतनी ही सावधानी की भी जरूरत है। वकील डू शिंगयू का कहना है कि अगर कोई हादसा होता है, तो उसकी जिम्मेदारी होटल की होगी। इसलिए होटल्स को प्रोफेशनल ट्रेनर्स और सिक्योरिटी पर पूरा ध्यान देना चाहिए।
बच्चों से ज्यादा पालतू जानवर!चीन में एक हैरान करने वाला ट्रेंड देखने को मिल रहा है। 2024 के आंकड़ों के मुताबिक, चार साल से कम उम्र के बच्चों की तुलना में पालतू जानवरों की संख्या ज्यादा हो गई है। अब हर आठ में से एक शहरी व्यक्ति पालतू जानवर पाल रहा है। यह दिखाता है कि चीन में पेट कल्चर कितना गहरा हो चुका है।
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